जब मैं एक चार्टर्ड अकाउंटेंट (अधिकृत लेखापाल)
बना, मुझे एक संख्या दी गई। यह संख्या इंस्टिट्यूट ऑफ चार्टर्ड अकाउंटेंट्स ऑफ इंडिया
जो भारत में चार्टर्ड अकाउंटेंट व्यवयास की निगरानी करने की संस्था है, के साथ मेरी
स्थायी संबद्धता संख्या है। इस संख्या के साथ संस्थान एक सीए (चार्टर्ड अकाउंटेंट)
के रोजगार की स्थिति, उस सीए के लिए कोई भी शिकायत, उस सीए के साथ कितने ट्रेनी आर्टिकल्स
पंजीकृत है एवं वह सीए कितने ऑडिट कर रहा है, यह देखता है- क्योंकि सीए द्वारा किए
जाने वाले ऑडिटों की संख्या की कुछ सीमाएं हैं। इसलिए यदि आप किसी सीए की सेवाएं प्राप्त
करना चाहते हैं- चाहे पूर्णकालिक या अंशकालिक समय के लिए तो आपको केवल रजिस्ट्री संख्या
व जन्मतिथि पता होने की आवश्यकता है और आप संस्थान की वेबसाइट पर प्रोफाइल प्राप्त
कर सकते हैं। आप पूर्व रोजगार व योग्यता प्राप्त करने की तिथि एवं कई अन्य विवरण देख
सकते हैं।
इस प्रकार का पंजीकरण विभिन्न व्यवसायिकों के
लिए आम है। उदाहरण के लिए, भारतीय पुर्नवास परिषद के पास उन सभी व्यवसायिकों की सूची
है जो उनके द्वारा अनुमोदित किए गए हैं। कोई भी वेबसाइट पर जा सकता है व किसी भी पंजीकृत
सदस्य की पंजीकरण संख्या व पूरे विवरण की जांच कर सकता है।
शिक्षकों के लिए इस प्रकार की ऑनलाईन खोज पंजीकरण
की कल्पना कीजिए। एक सीबीएससी जैसा बोर्ड ऐसा पंजीकरण बनाए रख सकता है एवं विद्यालय
शिक्षकों के विवरणों के लिए जांच कर सकता है जैसेः
- योग्यता प्राप्त करने की तिथि
- अब तक का अनुभव
- उपलब्धियां व पुरस्कार
- विषय किन कक्षाओं में पढ़ाए गए
- प्रशिक्षण कार्य जिनमें भाग लिया गया
यह शिक्षकों को आंकने में अभिभावकों की भी सहायता
करेगा व यह देखने में भी कि विद्यालय किस प्रकार के शिक्षकों को नियुक्त करता है। एक
अच्छी तरह से अनुभव प्राप्त शिक्षक की एक अच्छी ऑनलाइन प्रोफाइल होगी। इन दिनों ऑनलाइन
समीक्षा पोस्ट करने की एक अवधारणा है। इसलिए वे अभिभावक जो शिक्षकों की समीक्षा लिखना
चाहते हैं, वे ऐसा कर सकते हैं और यह उन शिक्षकों की काफी सहायता कर सकता है जो उसी
शहर या भारत में किसी भी अन्य शहर में बेहतर नौकरी की तलाश कर रहे हैं।
भारत में शिक्षकों का अभाव है और इस प्रकार का
प्रयास युवाओं को शिक्षण व्यवसाय से जुड़ने व उसके द्वारा एक दीर्घकालीन समय के लिए
स्थिर व्यवसाय का निर्माण करने के लिए प्रेरित करने में हमारी सहायता कर सकता है। विभिन्न
शहरों व राज्यों में शिक्षकों के आंकड़ो का प्रकाशन प्रवासियों की भी यह निर्णय लेने
में सहायता कर सकता है कि रोज़गार के अवसर कहाँ अधिक हो सकते हैं।
यह एक नियुक्ति पोर्टल के रूप में भी बनाया जा
सकता है तथा भारत भर के विद्यालय वहाँ से गुणवान शिक्षक प्राप्त कर सकते हैं।
बहुत समय पहले चिकित्सा महाविद्यालय कम चिकित्सकों
को नियुक्त करते थे एवं निरीक्षण के दिन वे अन्य महाविद्यालयों से शिक्षक प्राप्त कर
लेते थे तथा उन्हें इस प्रकार दर्शाते थे जैसे उन्हें पूर्णकालिक नियुक्त किया गया
हो। हालांकि एक विशेष पंजीकरण संख्या को विद्यालय की संबद्धता आईडी से जोड़ कर इस प्रकार
की गतिविधि को रोका जा सकता है।
शिक्षकों की संख्या, योग्यता व अनुभव के लिए
सीबीएससी के सख्त निर्देश हैं। इस तरह की प्रणाली सबकुछ निर्विवाद प्रवर्तन के साथ
लागू करने में सहायता कर सकती है।
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